व्यावहारिक आलोचना ( Practical Criticism )
व्यावहारिक आलोचना ( Practical Criticism ) के प्रतिपादन से पूर्व रिचर्ड्स काव्य की भाषा के बारे में गंभीर चिन्तन कर चुके थे। उन्होंने काव्य की भाषा के दो प्रयोग स्वीकार किए हैं। इनमें से एक के अधीन वैज्ञानिक सत्य का निर्देश होता है और दूसरे में कवि की अनुभूतियों का सम्प्रेक्षण होता है। भाषा के … Read more